हिंदू नववर्ष की शुरुआत चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि से होती है, जो इस वर्ष 30 मार्च 2025, रविवार को है। हिंदू नववर्ष की विशेषताएं: 1. धार्मिक महत्व: मान्यता है कि चैत्र शुक्ल प्रतिपदा के दिन भगवान ब्रह्मा ने सृष्टि की रचना की थी। इसी दिन से चैत्र नवरात्रि की शुरुआत होती है, जिसमें देवी दुर्गा के नौ रूपों की पूजा की जाती है। 2. विक्रम संवत का परिचय: विक्रम संवत की स्थापना राजा विक्रमादित्य ने की थी और यह हिंदू पंचांग का आधार है। यह संवत ग्रेगोरियन कैलेंडर से 57 वर्ष आगे है। 3. संवत्सर का नाम और ग्रहों की स्थिति: विक्रम संवत 2082 को 'सिद्धार्थ' नामक संवत्सर कहा जाता है, जिसका वाहन घोड़ा है। इस वर्ष सूर्य राजा और मंत्री दोनों पदों पर विराजमान होंगे, जिससे अत्यधिक गर्मी पड़ने और प्राकृतिक आपदाओं की संभावना जताई गई है। 4. विभिन्न राज्यों में उत्सव: हिंदू नववर्ष को भारत के विभिन्न हिस्सों में अलग-अलग नामों से मनाया जाता है। महाराष्ट्र में इसे गुड़ी पड़वा, आंध्र प्रदेश में युगादि, और सिंधी समुदाय में चेट्टी चंड के रूप में मनाया जाता है।...